त्र्यंबकेश्वर ज्योतिर्लिंग सबसे अद्भुत और मुख्य बात यह हैं कि इसके तीन मुख (सिर) हैं, जिन्हें एक भगवान ब्रह्मा, एक भगवान विष्णु और एक भगवान रूद्र का रूप माना जाता है। इस लिंग के चारों ओर एक रत्न जड़ित मुकुट रखा गया है, जिसे त्रिदेव के मुखोटे के रुप में माना गया है।
भारत के अंदर कई शहरों में हिंदू देवी देवताओं के तीर्थस्थलों को ध्वस्त करवा दिया था उनमें एक नासिक का त्र्यंबकेश्वर मंदिर भी था| इतिहासकार जदुनाथ सरकार ने अपनी पुस्तक हिस्ट्री ऑफ औरंगजेब में इसका जिक्र किया है